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अक्षय कुमार स्टारर फिल्म ‘मिशन रानीगंज’ का ट्रेलर जारी

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पूजा एंटरटेनमेंट के बैनर तले वाशु भगनानी, जैकी भगनानी, दीपशिखा देशमुख और अजय कपूर द्वारा निर्मित व अक्षय कुमार और परिणीति चोपड़ा स्टारर रेस्क्यू थ्रिलर ‘मिशन रानीगंज’ का इंस्पायरिंग ट्रेलर जारी कर दिया गया है। फिल्म का ट्रेलर किसी सिनेमाई ट्रीट और सरप्राइज से कम नहीं लग रहा है। यह भावनाओं, ड्रामा, प्रेरणा, साहस और भावपूर्ण संगीत की एक रोलर-कोस्टर सवारी है, जिसे कलाकारों के शानदार प्रदर्शन के साथ कलात्मक ढंग से स्क्रीन पर निर्देशक टीनू सुरेश देसाई ने चित्रित किया है। ट्रेलर के प्रमुख आकर्षणों में से एक पानी के नीचे शानदार ढंग से फिल्माया गया सीक्वेंस है जिसमें अक्षय और फिल्म की इम्प्रेसिव कास्ट सिनेदर्शकों को रेस्क्यू मिशन की एक झलक दिखाते हैं। हर फ्रेम में अक्षय के किरदार जसवन्त सिंह गिल का समर्थन करने वाले प्रतिभाशाली कलाकारों का शानदार समूह भी नज़र आता है, जो वास्तव में दिल को छू लेने वाला है। यह एक बेहद शानदार अनुभव है जो दर्शकों को शुरू से अंत तक बांधे रखेगा। यह फिल्म सिल्वर स्क्रीन पर अब तक का सबसे उल्लेखनीय कोयला खदान बचाव अभियान होने का वादा करता है। जसवंत सिंह गिल के नेतृत्व में रेस्क्यू टीम के अथक प्रयासों को दर्शाती यह फिल्म 6 अक्टूबर को सिनेमाघरों में रिलीज होगी। इस फिल्म में अक्षय कुमार के साथ परिणीति चोपड़ा, कुमुद मिश्रा, पवन मल्होत्रा, रवि किशन, वरुण बडोला, दिब्येंदु भट्टाचार्य, राजेश शर्मा, वीरेंद्र सक्सेना, शिशिर शर्मा, अनंत महादेवन, जमील खान, सुधीर पांडे, बचन पचेरा, मुकेश भट्ट और ओंकार दास मानिकपुरी अपने अभिनय का जलवा बिखेरते नजर आएंगे।
प्रस्तुति : काली दास पाण्डेय

 

 

मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी द्वारा 2000 करोड़ निवेश के पश्चात चार हजार आठ सौ (4800) करोड़ के निवेश का करार

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विदेशी निवेशकों में बढ़ा उत्तराखंड में निवेश का क्रेज, देवभूमि में औद्योगिक संभावनाओं को माना सुरक्षित।

उत्तराखण्ड सरकार का कयान जेट से साथ 3800 करोड़ का एमओयू

उषा ब्रेको लिमिटेड के साथ हुआ 1000 करोड़ का एमओयू
मुख्यमंत्री ने कहा – हम उत्तराखण्ड में 2.5 लाख करोड़ के निवेश के लक्ष्य की ओर अग्रसर
लंदन, मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में प्रतिनिधि मंडल ने ब्रिटेन की पार्लियामेंट का भ्रमण किया और ब्रिटिश संसद सदस्यों के साथ विचार साझा किये
निश्चित ही मुख्यमंत्री की लंदन यात्रा का उद्देश्य पूर्ण हो रहा है।
ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट हेतु लंदन में उनके विदेशी औद्योगिक घरानों के साथ आयोजित बैठकें सफल रही और लंदन के औद्योगिक जगत में उत्तराखंड सुरक्षित निवेश की संभावनाओं के रूप में उभरा रहा है !
राज्य में औद्योगिक निवेश के लिए मुख्यमंत्री ने रोड शो में सहभागिता करते हुए लंदन के कई प्रमुख व्यवसायियों के साथ बैठक व चर्चायें की। इस दौरान मुख्यमंत्री धामी की उपस्थिति में अलग-अलग कंपनियों के साथ 4800 करोड़ के इनवेस्टमेंट एमओयू पर हस्ताक्षर किए गए।
औद्योगिक समूह कयान जेट के साथ दो अलग-अलग एमओयू में 3800 करोड एवं उषा ब्रेको के साथ 1000 करोड़ रुपए के इनवेस्टमेंट के एमओयू साइन किए गये। कयान जेट द्वारा उत्तराखण्ड में स्कींग रिसॉट विकसित करने के लिए 2100 करोड़ एवं केबल कार प्रोजेक्ट के लिए 1700 करोड़ का इनवेस्टमेंट एमओयू साइन किया गया। कयान जेट द्वारा द्वारा औली, दयारा बुग्याल और मुन्स्यारी में स्कींग रिसॉट प्रोजेक्ट्स विकसित करने को लेकर सहमति बनी।
इसके साथ ही रोपवे के क्षेत्र में अग्रणी उषा ब्रेको लिमिटेड के साथ हरिद्वार और अन्य जनपदों में रोपवे विकसित करने पर सहमति बनी। लंदन में आयोजित मुख्य कार्यक्रम में शिक्षा, पर्यटन, आईटी और स्वास्थ्य क्षेत्र से जुड़े विभिन्न 80 औद्योगिक घराने शामिल हुए ..!
प्रतिनिधियों ने इंडिया हाउस और पार्लियामेंट हाउस का दौरा भी किया भ्रमण के दौरान लंदन के टूर एंड ट्रेवलिंग क्षेत्र से जुड़े प्रमुख कंपनियों के प्रतिनिधियों के साथ विस्तृत चर्चा की और राज्य में बेहतर परिवहन तकनीक पर विचार साझा किये।
मुख्यमंत्री धामी ने सभी निवेशकों को आगामी दिसंबर माह में आयोजित होने वाले ग्लोबल इन्वेस्टर समिट हेतु उत्तराखण्ड आने के लिए आमंत्रित किया किया।
संयोग से आज विश्व पर्यटन दिवस भी है। मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी ने कहा कि उत्तराखण्ड को ग्लोबल टूरिज्म डेस्टिनेशन बनाने की दिशा में प्रदेश सरकार लगातार कार्य कर रही है उत्तराखण्ड में वेलनेस टूरिज्म और विलेज टूरिज्म जैसी अनेक सम्भावनाएं हैं। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड में ऋषिकेश योग और आध्यात्म की वैश्विक राजधानी के रुप में जाना जाता है। यूरोप से लेकर अन्य देशों के पर्यटक प्रत्येक वर्ष बड़ी तादात में योग ,आध्यात्म के लिए उत्तराखण्ड का रुख करते हैं।
मुख्यमंत्री धामी ने कहा कि प्रदेश सरकार ऋषिकेश एवं अन्य स्थानों पर विश्वस्तरीय कन्वेशनर सेंटर की स्थापना हेतु निवेशकों से वार्ता कर रही है।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने कहा कि देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जीे के नेतृत्व में आयोजित जी20 समिट के सफल आयोजन से ब्रिटेन और भारत दोनों देशों के रिश्तों को और अधिक मजबूती मिली है। आगामी दिसंबर माह में आयोजित होने वाले उत्तराखण्ड ग्लोबल इन्वेस्टर्स समिट में 2.5 लाख करोड़ के निवेश का लक्ष्य रखा गया है जो प्रदेश की अर्थब्यवस्था व समृद्धि को नई गति प्रदान करने में सहायक सिद्ध होगा।
इस दौरान भारतीय उच्चायुक्त महामहिम विक्रम दोरई स्वामी ने उत्तराखण्ड सरकार की विभिन्न नीतियों और सकारात्मक दृष्टिकोण की सराहना की। उन्होंने कहा कि उत्तराखण्ड देश की राष्ट्रीय राजधानी से कुछ दूरी पर होने के कारण दिल्ली एनसीआर में रहने वाले लोगों के लिए वीकेंड्स डेस्टिनेशन के रुप में विकसित हो गया है। उच्चायुक्त ने अपने पुराने अनुभवों को साझा करते हुए लाल बहादुर शास्त्री प्रशासनिक अकादमी से जुड़े स्मरण साझा किए। इस अवसर पर सचिव मुख्यमंत्री डॉ आर मीनाक्षी सुंदरम, सचिव उद्योग विनय शंकर पांडेय, महानिदेशक उद्योग रोहित मीणा, स्थानीय आयुक्त अजय मिश्रा समेत डेलिगेशन के अन्य सदस्य उपस्थित रहे।

कम्प्यूटर बाबा ने किया गौमाता बचाओ यात्रा का आगाज

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Computer Baba’s Gau Mata Bachao Yatra : भोपाल। कम्प्यूटर बाबा एक बार फिर चर्चा में है बाबा ने गौमाता बचाओ यात्रा का आज आगाज कर दिया। चित्रकूट में मंदाकिनी नदी के किनारे से को कंप्यूटर बाबा ने गंगा की शपथ खाकर गौ माता बचाओ यात्रा का शुभारंभ किया है। यह यात्रा चित्रकूट से चलकर सतना मैहर होते हुए 10 अक्टूबर को उज्जैन में समाप्त की जाएगी। कंप्यूटर बाबा ने शिवराज सरकार पर निशाना साधते हुए कहा कि यह सरकार गाय के प्रति एकदम निरंकुश है। तमाम योजनाएं बनती हैं लेकिन गौ माता के लिए क्यों नहीं सरकार योजनाएं बना रही है। यह दर-दर की ठोकर खा रही हैं।

Computer Baba’s Gau Mata Bachao Yatra : उन्होंने कहा कि पिछले कमलनाथ की सरकार ने गौ माता के लिए कई गौशाला बनवाया और गाय के प्रति काफी योजनाएं चलाई लेकिन इस सरकार में सभी योजनाएं धरातल पर समा गईं। जो गौशालाएं बने हैं। उनमें खाने-पीने की भी व्यवस्था नहीं की जा रही है। उन्होंने कहा कि हम पूरे संत समाज के लोग गली-गली गांव-गांव जाकर गाय बचाओ अभियान चलाएंगे। सरकार को गाय बचाओ अभियान में सहयोग देना चाहिए ताकि हमारी गौ माता की रक्षा की जा सके। चित्रकूट से हुए शंखनाद पर सैकड़ों की संख्या में संत समाज मौजूद रहा। कंप्यूटर बाबा ने कहा कि भाजपा सरकार सिर्फ कागजों तक ही सीमित रहती है। धरातल पर इसका कुछ काम नहीं देखने को मिल रहा है। सनातन धर्म की बात करने वाली भाजपा सरकार गौ माता की रक्षा करने पर क्यों नाकाम साबित हो रही है।

अंतर्राष्ट्रीय गणेश महोत्सव 2023 में पारंपरिक कला और संस्कृति का सामंजस्य

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मुंबई। अंतर्राष्ट्रीय गणेश महोत्सव 2023 में रवींद्र नाट्य अकादमी में बहुप्रतीक्षित कला और संस्कृति केंद्र का अनावरण किया गया, जो महाराष्ट्र की कलात्मक भव्यता का एक शानदार प्रमाण है। यह केंद्र परंपरा में निपुण कारीगरों और समकालीन कलाकारों दोनों के लिए एक मंच के रूप में कार्य करता है, जो उत्सव के उत्साह और भक्ति के बीच उपस्थित लोगों के लिए एक बेजोड़ अनुभव प्रदान करता है।
गिरीश महाजन (पर्यटन मंत्री, महाराष्ट्र सरकार) ने वीडियो कॉन्फरेन्स के माध्यम से कहा कि अंतर्राष्ट्रीय गणेश महोत्सव सिर्फ एक उत्सव से कहीं अधिक है; यह एक कैनवास है जहां हमारे कारीगरों का हर स्ट्रोक महाराष्ट्र की आत्मा और भावना को चित्रित करता है। कला और संस्कृति केंद्र इस भावना का प्रतीक है, हमारी परंपराओं को संरक्षित करता है और उन्हें उनकी पूरी भव्यता के साथ दुनिया के सामने पेश करता है।
27 सितंबर, 2023 को विभिन्न देशों के महावाणिज्य दूत, प्रवासियों के साथ, कला और संस्कृति केंद्र का दौरा करेंगे। 28 सितंबर को गिरगांव चौपाटी पर भव्य विसर्जन समारोह में मुख्यमंत्री, उनके कैबिनेट सहयोगी, महावाणिज्य दूत, प्रवासी और अंतरराष्ट्रीय पर्यटक मौजूद रहेंगे, जो पारंपरिक तरीके से भगवान गणेश को विदाई देंगे।
श्रीमती राधिका रस्तोगी (प्रमुख सचिव, पर्यटन विभाग) ने कहा, “प्रत्येक प्रदर्शनी और प्रत्येक शिल्प के साथ, हम वैश्विक समुदाय को खुला निमंत्रण देते हैं। कला और संस्कृति केंद्र वह जगह है जहां महाराष्ट्र की कहानियां और परंपराएं जीवंत हो उठती हैं और हमारे गौरवशाली अतीत को जीवंत वर्तमान से जोड़ती हैं।
डॉ. बी.एन. पाटिल (पर्यटन निदेशक) ने पहल के व्यापक लक्ष्य पर कहा कि कला और संस्कृति सभ्यता की टेपेस्ट्री में मूलभूत धागे के रूप में काम करते हैं। इस मंच के माध्यम से, हमारा लक्ष्य महाराष्ट्र की प्रचुर सांस्कृतिक विरासत को बढ़ाना, स्थायी आकर्षण और आधुनिक नवाचार का एक सुंदर मिश्रण प्रस्तुत करना है। हम पारखी और जिज्ञासु दोनों आगंतुकों को इस सांस्कृतिक उत्सव में शामिल होने के लिए हार्दिक निमंत्रण देते हैं।
वैभव कटवटे द्वारा सैंड आर्ट : यह अंतरराष्ट्रीय सैंड कलाकार और समुद्री संरक्षण समर्थक विस्मयकारी उत्कृष्ट कृतियों को बनाने और दर्शकों को समुद्री पारिस्थितिकी तंत्र के संरक्षण के बारे में शिक्षित करने के लिए अपनी कला का उपयोग करते हैं। चेतन राऊत द्वारा मोज़ेक कलात्मकता: 15 विश्व रिकॉर्ड के साथ, राऊत के इको-फ्रेंडली मोज़ेक पोट्रेट धूम मचाते हैं। उनका लेटैस्ट उद्यम पर्यावरणीय स्थिरता के महत्व को रेखांकित करते हुए 2 लाख प्लास्टिक की बोतलों को मंत्रमुग्ध कर देने वाले गणेश चित्र में पुनर्चक्रित करता है। 51 स्कूलों के स्कूली बच्चों ने भाग लिया और कैनवास पर भगवान गणेश के विभिन्न रूपों को चित्रित किया। इन चित्रों को कला एवं संस्कृति केंद्र में भी प्रदर्शित किया जाएगा ताकि हर कोई स्कूली बच्चों द्वारा किए गए प्रयासों की सराहना कर सके।
अंतर्राष्ट्रीय गणेश महोत्सव 2023 एक चिरस्मरणीय कार्यक्रम है, जो 18-28 सितंबर, 2023 तक मुंबई, पुणे, पालघर और रत्नागिरी में पारिवारिक यात्राओं के साथ जश्न से मनाया जा रहा है। यह त्यौहार आध्यात्मिकता, इतिहास और रोमांच का एक अनूठा मिश्रण पेश करता है।
उत्सव की सफलता के मूल में इसकी व्यापक अपील निहित है। इस महोत्सव ने विविध जनसांख्यिकी को आकर्षित किया है – थाईलैंड से 200 और अधिक पर्यटक, 400 और अधिक प्रवासी और वाणिज्य दूतावास के सदस्य, यात्रा व्यापार और मीडिया से 130 मेजबान प्रतिनिधि। 1000 से अधिक पंजीकृत प्रतिभागियों के साथ, महोत्सव की वैश्विक गूंज स्पष्ट है।

भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन को आया हार्ट अटैक, मुंबई के डॉक्टरों ने उनकी एंजियोप्लास्टी की

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पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन को दिल का दौरा पड़ा है। समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन को शाम के समय कार्डियक अरेस्ट हुआ। जिसके बाद उन्हें मुंबई के लीलावती अस्पताल में भर्ती कराया गया है। बता दें कि शाहनवाज हुसैन बीजेपी के राष्ट्रीय प्रवक्ता हैं और वह बिहार सरकार में उद्योग मंत्री भी रहे हैं।

मुंबई, एएनआई। पूर्व केंद्रीय मंत्री और भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन को दिल का दौरा पड़ा है। समाचार एजेंसी एएनआई के अनुसार, भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन को शाम के समय कार्डियक अरेस्ट हुआ। जिसके बाद उन्हें मुंबई के लीलावती अस्पताल में भर्ती कराया गया है।

लीलावती अस्पताल के डॉक्टर ने दी जानकारी

वहीं, लीलावती अस्पताल के डॉक्टर जलील पारकर ने भाजपा नेता शाहनवाज हुसैन की सेहत की जानकारी देते हुए बताया कि उन्हें कार्डियक अरेस्ट के बाद लीलावती अस्पताल में भर्ती करा दिया गया था। उन्होंने बताया कि शाहनवाज हुसैन को दिल का दौरा पड़ा है। इसके बाद डॉक्टरों ने उनकी एंजियोप्लास्टी की।

 

सीएम धामी के स्वागत में उत्तराखण्डी लोकगीतों से झूमा लंदन

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चार दिवसीय कार्यक्रम के अंतर्गत सोमवार को लंदन पंहुचने पर उत्तराखंड के मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी का वहां मौजूद प्रवासी भारतीयों एवं लंदन में रह रहे उत्तराखंड के निवासियों द्वारा भव्य रंगारंग स्वागत कार्यक्रम आयोजित किया गया।
लंदन में रह रहे उत्तराखण्ड के प्रवासियों द्वारा गढ़वाली, कुमाऊँनी, जौनसारी लोकगीतों पर मनमोहन प्रस्तुति दी गई। स्वागत कार्यक्रम में समस्त प्रवासियों द्वारा उत्तराखण्ड के पारंपरिक परिधानों में उपस्थिति ने अत्यंत आत्मीय व सांस्कृतिक वातावरण का निर्माण किया ..!
इस विशेष अवसर पर मुख्यमंत्री ने लंदन में रह रहे समस्त प्रवासी उत्तराखण्ड के लोगों का आभार प्रकट करते हुए कहा कि “यह मेरा सौभाग्य है कि उत्तराखण्ड के मुख्य सेवक के रूप में मुझे इन्वेस्टर समिट की बैठक में शामिल होने के लिए लंदन आने का अवसर प्राप्त हुआ।
अपने उद्द्बोधन में मुख्यमंत्री ने कहा कि – लंदन में उत्तराखण्ड के लोगों को इतनी अधिक संख्या में उपस्थित देखकर यह प्रतीत हो रहा है कि यूके में भी उत्तराखण्ड का छोटा यूके बसता है।
निश्चित ही उत्तराखण्ड देवभूमि होने के साथ -साथ योग, आध्यात्म की भी भूमि है। यही नहीं उत्तराखण्ड देश की समृद्ध सांस्कृतिक विरासत का भी प्रतीक है । हमें गर्व है कि हमारी जड़े उत्तराखण्ड से जुड़ी हुई है।
मुख्यमंत्री ने समस्त प्रवासी उत्तराखण्डियों से आह्वान करते हुए कहा कि वह वर्ष में एक बार अपने प्रदेश उत्तराखण्ड ज़रूर आएँ।
वर्तमान में देश के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के नेतृत्व में सम्पूर्ण विश्व में भारत का मान,सम्मान और स्वाभिमान बढ़ा है। आज विदेशों में भी एक भारत श्रेष्ठ भारत की परिकल्पना को मूर्त रूप दिया है ..आज भारत विश्व गुरु बनने की दिशा में तीव्रता से अग्रसर है ..!
हाल ही में चंद्रयान-3 का सफल प्रक्षेपण और चंद्रमा पर सेफ लैंडिंग इसका प्रत्यक्ष उदाहरण है।
प्रतिनिधि मंडल में सचिव मुख्यमंत्री डॉ आर मीनाक्षी सुंदरम, सचिव विनय शंकर पांडेय, महानिदेशक उद्योग रोहित मीणा, स्थानीय आयुक्त अजय मिश्रा समेत उत्तराखण्ड के निवासी एवं प्रवासी भारतीय मौजूद रहे।

लंदन, एयरपोर्ट पर उत्तराखंडी प्रवासियों द्वारा पारंपरिक वाद्य यंत्रों के साथ मुख्यमंत्री पुष्कर धामी का हुआ भव्य स्वागत

लंदन, पूर्व निर्धारित कार्यक्रम के अनुसार चार दिवसीय ब्रिटेन यात्रा पर आये मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी सोमवार को लंदन एयरपोर्ट पहुँचे।
एयरपोर्ट पर मुख्यमंत्री के स्वागत में अधिक संख्या में प्रवासी भारतीय एकत्रित हुए ! लंदन पहुँचने पर भारतीय समुदाय और उत्तराखंड मूल के लोगों के द्वारा मुख्यमंत्री का उत्तराखण्ड के पारंपरिक वाद्य यंत्रों के वादन तथा उत्तराखण्ड की परम्परा के अनुसार गर्मजोशी से स्वागत किया गया।
विदित हो कि -मुख्यमंत्री पुष्कर सिंह धामी के नेतृत्व में प्रदेश सरकार का यह प्रतिनिधि मंडल उत्तराखंड में छोटे बड़े निवेशकों को आकर्षित करने हेतु 25 सितंबर से 29 सितंबर तक ब्रिटेन प्रवास पर रहेगा।
राज्य सरकार का प्रतिनिधि मंडल , लंदन और बर्मिघम में दुनिया के बड़े ब्यवसायिक घरानों से बैठक कर साथ ही उत्तराखंड में आगामी दिसंबर में होने वाले ग्लोबल इन्वेस्टर समिट के लिए उन्हें आमंत्रित करेगा ।
मुख्यमंत्री धामी के नेतृत्व में लंदन और बर्मिघम दौरे पर पर्यटन , आईटी, शिक्षा , हेल्थकेयर, फूड प्रोसेसिंग के अतिरिक्त ऑटोमोबिल जैसे महत्वपूर्ण इन्डस्ट्री के उद्योग घरानों के साथ बैठकेँ कर किस प्रकार उत्तराखंड में अधिकाधिक निवेश का प्लेटफार्म तैयार किया जाय इस विषय पर चर्चाएं होगी ..!

 

 

 

 

 

 

 

 

 

 

सहारनपुर:गौ तस्कर गिरफ़्तार

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सहारनपुर: उत्तर प्रदेश के सहारनपुर जिले की देवबंद थाना पुलिस ने मंगलवार की सुबह बनेड़ा गांव के पास मुठभेड़ के बाद गौ तस्करों के गिरोह के एक सदस्य को पकड़ा। आरोपी की पहचान सहारनपुर जिले के फुलास गांव के मुजीब के रूप में हुई है। पुलिस ने बताया कि मुठभेड़ बनेड़ा गांव के जंगल के पास मंगलवार तड़के को हुई। गुप्त सूचना के आधार पर पुलिस ने कार्रवाई करते हुए आरोपियों को पकड़ने का प्रयास किया। कथित आरोपियों ने पुलिस दल पर गोलियां चला दी। पुलिस की जवाबी कार्रवाई में आरोपी मुजीब को गोली लगी और वह घायल हो गया। घायल को तुरंत एक स्थानीय अस्पताल में भर्ती किया गया, जहां उसकी हालत स्थिर बनी हुई है। आरोपी के पास से 1 तमंचा, 4 जिंदा कारतूस, गोकशी में इस्तेमाल उपकरण और 15 किलो गोमांस बरामद किया गया।

पुण्यतिथि विशेष – पुरातत्व एवं पत्रकारिता को समर्पित , पत्रकारिता के पितामाह दिनेश चंद्र वर्मा , जो न कभी संघर्ष से डरे, न कलम के साथ समझौता किया

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पवन कुमार वर्मा- 
इतिहास, पुरातत्व और धार्मिक विषयों पर अपनी अलग और मजबूत पकड़ रखने वाले श्री दिनेश चंद्र वर्मा एक ऐसी शख्सियत थे, जिन्होंने लेखन और पत्रकारिता के क्षेत्र में देश ही नहीं वरन विदेशों में भी नाम रोशन किया। उनके लेख देश की प्रमुख पत्रिकाओं और समाचार पत्रों में प्रमुखता के साथ प्रकाशित हुये। इनके लेखों का अनुवाद चीन, जापान, नेपाल तथा श्रीलंका के पत्र और पत्रिकाओं में भी हुआ। उनके अनेक लेखों में कई लेख देश के गौरवशाली इतिहास, पुरातत्व और धार्मिक स्थलों से जुड़े हुए थे। इससे ऐसा प्रतीत होता रहा कि श्री वर्मा  देश के वैभवशाली इतिहास और पुरातत्व से देश के जनमानस को परिचित करना चाहते थे। उनके प्रयास सार्थक हुए, उनकी कलम के जरिए 70-80 के दौर की सबसे प्रसिद्ध और प्रतिष्ठित पत्रिका धर्मयुग,,कादम्बिनी, नवनीत, में देश के इतिहास, पुरातत्व और धार्मिक स्थलों से जुड़े दर्जनों लेख प्रकाशित हुए।
विदिशा जिले के शमशाबाद में 29 जुलाई 1944 को जब श्री दिनेश चंद्र वर्मा ने जन्म लिया था, तब शायद ही किसी ने सोचा होगा कि आगे चलकर वे देश के प्रख्यात पत्रकारों एवं संपादकों में शुमार होंगे। वे शमशाबाद से निकल कर विदिशा आये और यहीं से उन्होंने अकेले चलना शुरू किया और देखते ही देखते  वे एक अजातशत्रु के रूप में उभर गए।   विदिशा जिले के ही अरबरिया ग्राम में उनकी प्रारंभिक शिक्षा हुई। इसके बाद वे  हाई स्कूल की पढ़ाई करने के लिए  विदिशा आ गए। यहीं से उनका कारवां ऐसा बना कि समाजसेवी, नेता, अफसरों के साथ ही आम जनता भी उनकी लेखनी की कायल हो गई। चिंगारी से शुरू हुआ सफर देश  की जानी-मानी पत्रिका धर्मयुग, सरिता, मुक्ता, नवनीत, कादंबिनी, साप्ताहिक हिन्दुस्तान, भू-भारती, अवकाश, माया, श्रीवर्षा, दिनमान, रविवार, मनोहर कहानियां,खास खबर, शान-ए-सहारा से लेकर देश के कई समाचार पत्रों में छपने के साथ जारी रहा।
चिंगारी से पत्रकारिता की शुरूआत
श्री वर्मा ने पत्रकारिता जगत में महज 16 साल की उम्र में कदम रख दिया था।  पूर्व विधायक हीरालाल पिप्पल विदिशा से चिंगारी अखबार का प्रकाशन करते थे, श्री वर्मा ने इस अखबार में काम कर पत्रकारिता की शुरूआत की। साथ में हाई स्कूल की पढ़ाई भी करते रहे।
बाढ़ की खबर से आए थे चर्चा में
विदिशा में वर्ष 1965 में बाढ़ आई। इस वक्त श्री वर्मा भोपाल आ चुके थे और नवभारत में कार्यरत थे। तेज बारिश के चलते भोपाल से पानी छोड़ा गया। नतीजे में अगले दिन विदिशा शहर के अधिकांश हिस्से में पानी भर गया, घरों में पानी भर जाने से रहवासियों का खासा नुकसान हो गया।  श्री वर्मा ने नवभारत में इस बाढ़ की रिपोर्टिंग  की, जिसमें यह सामने आया कि भोपाल से पानी छोड़े जाने की जानकारी  विदिशा के जिला प्रशासन को दी गई थी, लेकिन प्रशासन रात में हरकत में नहीं आया और शहर में पानी ने भारी तबाही मचा दी। श्री वर्मा की यह पड़ताल करती हुई खबर नवभारत के प्रथम पृष्ठ पर लीड स्टोरी के रूप में लगी, खबर छपते ही विदिशा जिला प्रशासन के अफसरों में हडकंप मच गया। संभवत: विदिशा की समस्या पहली बार इतनी बड़ी स्टोरी के रूप में उस दौर के सबसे बड़े अखबार में प्रकाशित हुई थी। भोपाल में रहने के दौरान श्री वर्मा ने दैनिक भास्कर में भी काम किया। इसके बाद श्री वर्मा इंदौर चले गए, जहां पर उन्होंने इंदौर जागरण, इंदौर समाचार आदि समाचार पत्रों में काम किया।  यही रहते हुए उन्होंने हाई स्कूल के विद्यार्थियों के लिए इतिहास,नागरिक शास्त्र विषय पर पॉकेट बुक भी कई वर्षों तक लिखी।
30 वर्ष में लिख दी थी इंदिरा गांधी पर किताब
श्री वर्मा जब महज 30 साल के थे,तब उन्होंने इंदौर में रहते हुए देश की तत्कालीन प्रधानमंत्री इंदिरा गांधी पर किताब लिख दी थी। ‘एक और अवतार इंदिरा गांधी’ शीर्षक से यह किताब प्रकाशित हुई। इस किताब की भूमिका तत्कालीन मुख्यमंत्री प्रकाश चंद सेठी ने लिखी थी।
बेबाकी से सरकार की नाकामी करते रहे उजागर
        देश की अधिकांश प्रसिद्ध पत्रिकाओं  धर्मयुग, सरिता, मुक्ता, नवनीत, कादंबिनी, साप्ताहिक हिन्दुस्तान, भू-भारती, अवकाश, माया, श्रीवर्षा,कंचन प्रभा, रविवार, दिनमान, मनोहर कहानियां, में उनके आलेख प्रकाशित  हुए। राजनीतिक और सामाजिक सरोकारों पर प्रकाशित हुए उनके कई लेख प्रदेश ही नहीं बल्कि दिल्ली में बैठे राजनेता भी मुद्दा बनाते रहे। अपनी लेखनी के बल पर उन्होंने कई बार सरकार की नाकामियों और राजनेताओं के भ्रष्टाचार की पोल भी बेबाकी के साथ खोली। दिल्ली प्रेस प्रकाशन की भू- भारती और आज ग्रुप की अवकाश में उनके राजनीतिक आलेखों का इंतजार मध्यप्रदेश के ही नहीं बल्कि देश के भी कई राजनेता और राजनीति में रूचि रखने वाले पाठक करते थे।
विदिशा में रावण की पूजा से देश को परिचित कराया
नवनीत, कादम्बिनी, धर्मयुग,कंचनप्रभा में उनके इतिहास और पुरातत्व पर सैकड़ों आलेख प्रकाशित हुए। विदिशा जिले के रावन दुपारिया गांव में स्थित रावण की प्रतिमा पर श्री वर्मा ने 1976 में धर्मयुग में आलेख लिखा था। ‘जहां राम और रावण की पूजा होती है’।  उन्होंने विदिशा के विजय मंदिर में स्थित भगवान गणेश की प्रतिमा पर भी नवनीत में आलेख लिखा।
कई देशों में चर्चित हुआ था अस्थियों की तस्करी का सच
बौद्ध तीर्थ सांची में बौद्ध अस्थियों की तस्करी का उनका आलेख उस वक्त देश ही नहीं बल्कि दुनिया के कई देशों में चर्चित हुआ था। यह आलेख उनका भू-भारती में प्रकाशित हुआ था।  श्री वर्मा ने सांची के तोरण द्वारों की महत्ता भी अपने आलेखों के जरिए बताई। महेंद्र और संघमित्रा पर भी उनके कई आलेख प्रकाशित हुए। सतधारा पर भी उनके कई लेख विभिन्न पत्रिकाओं में प्रकाशित हुए। सांची, सतधारा पर लिखे उनके कुछ  आलेखों का जिक्र राज्यसभा तक में हुआ। इतिहास, पुरातत्व विषयों पर उनकी आकाशवाणी से भी कई वार्ताएं प्रकाशित हुई।
श्री वर्मा की धार्मिक विषयों पर भी अद्भुत पकड़ थी
श्री वर्मा की इतिहास और पुरातत्व पर कलम जितनी मजबूत थी, उतनी ही पकड़ उनकी धार्मिक आलेखों पर भी थी। ‘कुंभ पर्वो की परम्परा और प्राचीनता’, भोजपुर के शिव मंदिर पर उनका लिखा आलेख ‘एक और सोमनाथ’ आज भी कई लोगों को याद है। नवनीत में प्रकाशित उज्जैन के मंगलनाथ मंदिर पर आधारित ‘मंगल नाथ से हुई मंगल गृह की उत्पत्ति ’ आलेख भी खासा चर्चित हुआ था।  उदयगिरी की गुफाओं, ग्यारसपुर का मालादेवी मंदिर, उदयपुर का नीलकंठेश्वर मंदिर आदि पर भी श्री वर्मा ने खासा लिखा। भारत में नाग पूजा की परम्परा पर भी श्री वर्मा ने लिखा।
और फिर प्रकाशन हुआ वचनबद्ध का
कई वर्षों तक देश भर की प्रसिद्ध पत्रिकाओं में प्रकाशित होने के साथ ही अपना अखबार कटिबंध निकाला। फिर श्री वर्मा भोपाल में शिखर वार्ता में काम करने लगे। इसके बाद श्री वर्मा ने भोपाल से वचनबद्ध का प्रकाशन शुरू किया।    उन्होंने 1994 में विनायक फीचर्स शुरू की। जिसके माध्यम से उन्होंने कई छोटे-बड़े पत्रकारों और नवोदित लेखकों के आलेख देश के विभिन्न समाचार पत्रों में भी प्रकाशित करवाए। मध्य प्रदेश जनसंपर्क  विभाग की पत्रिका मध्यप्रदेश संदेश में श्री वर्मा लगातार प्रकाशित होते रहे।
 नदियों से रहा अथक लगाव
श्री वर्मा ने आम लोगों की आवाज बुलंद करने और उनकी आवाज को सरकार एवं  प्रशासन तक पहुंचाने के उद्देश्य से  वचनबद्ध का प्रकाशन  शुरू किया। इस दौरान उन्होंने बेतवा नदी की साफ-सफाई और प्रदूषण मुक्त रखने के लिए नेताओं  के साथ ही समाजसेवियों और आम जनता को प्रेरित करने का प्रयास किया। उन्होंने वचनबद्ध में नदियों के प्रति नेताओं सहित अफसरों और समाजसेवियों, आम नागरिकों को जिम्मेदारी का बोध करवाने एक प्रश्नावली तैयार की थी।  जिसमें पूछा गया था कि अपनी नदियों के प्रति आपका पहला कर्तव्य क्या है, नदियों को स्वच्छ और प्रदूषण मुक्त कैसे बनाया जाए। बेतवा के प्रदूषित होने पर कई बार प्रशासन और अफसरों से भी बैर लिया।
अजातशत्रु बनकर उभरे
पत्रकारिता में श्री वर्मा ने सामाजिक सरोकार और सच्चाई का साथ आखिरी सांस तक नहीं छोड़ा। इसके चलते  प्रदेश की राजनीति के कई बड़े चर्चित चेहरे उनसे नाराज भी हुए। उनकी बेबाक लेखनी के चलते कई बार अफसरों से भी उनका विवाद हुआ, लेकिन उनसे नाराज नेता, अफसर भी उनकी लेखनी का सम्मान करते रहे।पत्रकार होने के नाते अनेक राजनेताओं से उनके नजदीकी संबंध थे।कांग्रेस के दिग्गज नेता कमलापति त्रिपाठी, अर्जुन सिंह, बलराम जाखड़,विद्या चरण शुक्ल, श्यामाचरण शुक्ल, प्रकाश चंद सेठी और माधवराव सिंधिया ,देश के प्रख्यात शायर एवं फिल्म कहानियों के लेखक जावेद अख्तर, पूर्व सांसद गुफरान ए आजम और पूर्व विधायक हसनात सिद्दीकी से उनके नजदीकी संबंध थे लेकिन बात जब पत्रकारिता की चलती थी तो उनके सबसे ज्यादा नजदीक सत्य ही होता था। उन्होंने कभी भी पत्रकारिता को व्यापार नहीं समझा,सदैव मूल्यों एवं सिद्धांतों की ही पत्रकारिता की ,इस कारण अनेक बार उन्हें आर्थिक परेशानियां भी उठाना पड़ी।
राजनीति के साथ पुरातात्विक विषयों पर भी उनकी गहरी दिलचस्पी थी। सांची के स्तूपों और उदयगिरि की गुफाओं पर तो उन्हें इतनी महारथ हासिल थी कि इनके एक एक हिस्से पर उन्होंने कई लेख लिखे।  सांची के मात्र तोरण द्वारों पर ही आकाशवाणी ने उनकी धारावाहिक वार्ताओं का प्रसारण किया ।इतिहास से जुड़े सैकड़ो कथानकों का उनके पास भंडार था।लेखन के लिए सदैव सजग एवं सहज रहने वाले वर्मा को वस्तुतः आत्मसंतुष्टि मिली विनायक फीचर्स के संपादन के साथ। जिसमें उन्होंने ऐसे अनेक लोगों को प्रोत्साहित किया जो लेखन के क्षेत्र में कार्य करना चाहते थे।नवोदित लेखकों को श्री वर्मा ने एक सुव्यवस्थित प्लेटफार्म उपलब्ध करवाया।समाचार पत्रों ने भी दिनेश चंद्र वर्मा की फीचर सेवा विनायक फीचर्स को  हाथोंहाथ लिया और इस फीचर सेवा के माध्यम से वे अपने अंतिम समय तक लेखन से जुड़े रहे।26सितंबर2020की प्रातः बेला में इतिहास, पुरातत्व एवं पत्रकारिता को समर्पित एवं सदैव गतिमान इस विलक्षण व्यक्तित्व ने अपनी जीवनयात्रा पूर्ण की।( विभूति फीचर्स)

आठ साल बाद खुला मुंबई की महिला के ब्रेन ट्यूमर का रहस्य हार्मोनल बदलाव के कारण शरीर में अजीब बदलाव

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मुंबई- जैसे-जैसे हमारी उम्र बढ़ती है, हमारे शरीर में उम्र से संबंधित बदलाव आते हैं, लेकिन दक्षिण मुंबई में एक ४४ वर्षीय ऑफिस जाने वाली महिला के शरीर में ८ साल की अवधि में एक अलग बदलाव आया। इन परिवर्तनों ने महिला के लिए काम पर जाना भी असंभव बना दिया। इन शारीरिक परिवर्तनों में मुख्य रूप से नाक का बढ़ना, अंगों पर पुरुषों जैसे बालों का बढ़ना, मासिक धर्म में अनियमितता, वजन बढ़ना और आवाज में अजीब बदलाव शामिल हैं।
इसके चलते महिला को घर से बाहर निकलने में शर्म महसूस होने लगी और वह डिप्रेशन में चली गई। स्त्री रोग विशेषज्ञ के पास जाने पर उन्होंने पेट की सोनोग्राफी कराई और पीसीओडी बताकर दवाएं शुरू कर दीं, लेकिन शारीरिक बदलाव में कोई फर्क नहीं पड़ा। एक बार यह महिला कान के इलाज के लिए एक ईएनटी डॉक्टर के पास गई, जिन्होंने सुझाव दिया कि यह बीमारी मस्तिष्क से संबंधित बीमारी हो सकती है और ठाणे के सोलारिस अस्पताल के न्यूरोलॉजिस्ट और सर्जन डॉ. अमित ऐवळे से परामर्श करने के लिए कहा।
इस बारे में अधिक जानकारी देते हुए न्यूरोलॉजिस्ट और सर्जन डॉ. अमित ऐवळे ने कहा, “जिसके तुरंत बाद हमने इस रोगी का प्रमुख चिकित्सीय परीक्षण किया, वह एंक्रोमेगाली से पीड़ित थी, जो वयस्कों में वृद्धि हार्मोन के अत्यधिक स्राव के कारण होने वाला एक हार्मोनल विकार है। हमने एमआरआई और विस्तृत हार्मोनल मूल्यांकन किया।
एंक्रोमेगाली एक हार्मोन विकार है जिसमें आपका शरीर बहुत अधिक हार्मोन का उत्पादन करता है, मुख्य रूप से पिट्यूटरी ग्रंथि में, जो शरीर के शारीरिक विकास को नियंत्रित करता है। यदि ये हार्मोन अधिक मात्रा में बढ़ जाएं तो शरीर की हड्डियां, उपास्थि, अंग और अन्य ऊतक आकार में बढ़ जाते हैं। एमआईआर स्कैन से मस्तिष्क की पिट्यूटरी ग्रंथि में १.५ x २सेमी के ट्यूमर का पता चला। इस ट्यूमर के कारण महिला के शरीर में पिछले आठ साल से अजीब बदलाव हो रहे थे।
हमने तुरंत नाक के माध्यम से ट्रांसनासल पिट्यूटरी मैक्रोडेनोमा एक्सिशन सर्जरी यानी एंडोस्कोपिक तकनीक का उपयोग करके ट्यूमर को हटा दिया। इस सर्जरी के लिए आवश्यक उन्नत तकनीक और सोलारिस अस्पताल में उपलब्ध अनुभवी मेडिकल टीम के कारण सर्जरी सफल रही और हमने अगले चार दिनों में महिला को घर भेज दिया।
अगले 2 महीनों में इस महिला के शरीर में हार्मोनल बीमारी पूरी तरह से ठीक हो गई और जिन अंगों में अजीब सी वृद्धि हुई थी वह कम हो गई और उसका मासिक धर्म नियमित हो गया। आज हमारे देश में विश्व स्तरीय चिकित्सा उपचार उपलब्ध होने के बावजूद कई मरीजों को अज्ञात बीमारियों के कारण परेशानी उठानी पड़ती है।सोलारिस अस्पताल के न्यूरोलॉजिस्ट और सर्जन डॉ. अमित ऐवळे ने कहा कि इस मामले में भी समय पर निदान न होने के कारण मरीज को कई वर्षों तक परेशानी उठानी पड़ी।

मुंबई की ‘बेस्ट’ बस प्रणाली में समान काम के लिए समान वेतन के लिए लड़ाई

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– लता परब
बेस्ट का अपना एक ऐसा इतिहास है. बृहन्मुंबई विद्युत आपूर्ति और परिवहन (BEST) मुंबई की सार्वजनिक परिवहन प्रणाली है। यहां तक कि अगर आप मुंबई में ‘बेस्ट’ प्रशासन भवन के निर्माण को देखें, तो आप देख सकते हैं कि स्थायी भवन बनाने के लिए बहुत प्रयास किए गए ताकि आने वाले कई वर्षों तक लोगों को इन कल्याणकारी योजनाओं का लाभ मिल सके। भारत की आर्थिक राजधानी मुंबई में ‘बेस्ट’ बस का मुंबई बड़ा महत्व रहा है। भारत के अन्य राज्यों में बस सेवाएं शुरू करने के लिए मुंबई की इस ‘सर्वोत्तम’ बस सेवाओं का अध्ययन किया जाता है। जब मुंबई तेज बारिश के चलते आई बाढ़ की चपेट मे फाँसी थी उस समय कोई भी मुंबईवासी बेस्ट बस द्वारा प्रदान की गई सेवा का योगदान नहीं भूल सकता। मुंबई में कामकाजी महिलाएं रात और सुबह-सुबह बिना किसी परेशानी के यात्रा कर सकती हैं। इतने महत्वपूर्ण सार्वजनिक परिवहन के निजीकरण की साजिश में महाराष्ट्र सरकार और ‘बेस्ट’ प्रशासन स्वयं शामिल है। सरकार का इरादा सार्वजनिक परिवहन सेवा ‘बेस्ट’ को ख़त्म करने का है. इसकी शुरुआत ‘बेस्ट’ के अपने बेड़े को कम करके और निजी ठेकेदारों को बसें चलाने की अनुमति देकर की गई है। ये ठेकेदार अपने फायदे के लिए मजदूरों का शोषण कर मुनाफा कमा रहे हैं।
मुंबई में बड़ी संख्या में मजदूर वर्ग की आबादी है और बेस्ट की बसों में यात्रा करने वाले यात्री आम जरूरतमंद लोग हैं। यह सस्ता और किफायती सार्वजनिक परिवहन उन्हें कार्यस्थल तक पहुंचने में बहुत मदद करता है। देश बार की ये सबसे भरोसेमंद बस सेवा मुंबई के लोगों के दैनिक जीवन का एक अटूट हिस्सा है। यह उनकी ज़रूरत बन चुकी है। बेस्ट बस प्रशासन इसी का फायदा उठा रहा है और जनता को बेवकूफ बनाकर इस सार्वजनिक परिवहन सेवा का निजीकरण करने की कोशिश कर रहा है।
बेस्ट बस निजी परिवहन उपलब्ध कराकर आम जनता से जो पैसा एकत्र करेगी, उसे वे लाभ के रूप में अर्जित कर सकेंगी। उन्होंने मुनाफा कमाने के लिए सस्ती बसें उपलब्ध कराकर श्रमिकों और यात्रियों की जान से खिलवाड़ करना शुरू कर दिया है। कर्मियों के प्रशिक्षण पर होने वाले खर्च में कटौती कर यात्रियों व कर्मियों की जान जोखिम में डाल दी गयी है. ये मजबूर मजदूर कम वेतन पर काम कर रहे हैं। ठेके पर काम कर रहे ये कर्मचारी हमेशा भेदभाव व प्रताड़ना के शिकार होते रहते हैं। श्रम कानून की अवधारणा के अनुसार, यह वेट लीज (किराए के बस) श्रमिक एक श्रमिक के रूप में श्रम कानून की परिभाषा मे नहीं आता। इसलिए सभी श्रम कानूनों का उल्लंघन होता है और ठेकेदार श्रमिकों का शोषण करते हैं। परिणामस्वरूप, ये संविदा कर्मचारी बहुत खराब स्थिति में रह रहे हैं। अल्प वेतन के कारण हताश और कर्ज में डूबे उनमें से कुछ ने आत्महत्या कर ली।
एक ऐतिहासिक फैसले में, सुप्रीम कोर्ट ने कहा कि कल्याणकारी राज्य में समान काम के लिए समान वेतन से इनकार करना शोषणकारी, अत्याचारी और दमनकारी होगा। इस महत्वपूर्ण अवलोकन के सहारे ‘संघर्ष कर्मचारी कामगार यूनियन’ पिछले दो-तीन वर्षों से लगातार इन श्रमिकों के साथ हो रहे अन्याय के खिलाफ आवाज उठा रही है और उनके मुद्दों पर आंदोलन कर रही है। सुप्रीम कोर्ट के आदेश को लागू कराने के लिए संघर्ष कर रहे संघर्ष कर्मकार लगमार यूनियन ने मुंबई में बेस्ट बसों के वेट लीज कर्मचारियों की जायज मांगों को लेकर आंदोलन शुरू कर दिया है और मुख्य मांग समान काम के लिए समान वेतन है। वेट लीज़ के लगभग 9000 कर्मचारी हड़ताल में शामिल हुए।
31 जुलाई को वेट लीज कर्मचारी रघुनाथ खजूरकर के परिवार ने व्यक्तिगत रूप से अनशन शुरू कर आंदोलन शुरू किया. डी। भूख हड़ताल में बढ़ते समर्थन और भागीदारी को देखते हुए सरकार ने घोषणा की है कि भूख हड़ताल करने वाले 2 अगस्त को राज्य के मुख्यमंत्री से मुलाकात करेंगे. यहां आंदोलन को अलग मोड़ दे दिया गया. आंदोलनकारियों को गुमराह किया गया की सरकार मांगे मान रही है और आंदोलन को खत्म किया जाए।
दिनांक 3 अगस्त को संघर्ष कामगार कर्मचारी यूनियन की कार्यकारिणी बैठक में निर्णय लिया गया कि भूख हड़ताल के समर्थन में हमें अपने यूनियन के बैनर तले विरोध प्रदर्शन करना चाहिए और वडाला बेस्ट डिपो में अपना मांग पत्र और वक्तव्य प्रस्तुत करना चाहिए. श्रमिकों से इतनी अपील की गई और अगले ही दिन मगाथाने, गोराई, मालवणी, डिंडोशी, मरोल, ओशिवारा, सांताक्रूज़, धारावी, वर्ली, मुंबई सेंट्रल, बैकबे, प्रत्यक्षा नगर, कोलाबा में वेट-लीज बसों पर काम करने वाले सभी श्रमिक, आदि, देवनार, शिवाजी नगर, घाटकोपर, मुलुंड डिपो से वडाला बेस्ट डिपो तक एक सफल वेट-लीज कर्मचारी मार्च के बाद बेस्ट, बेस्ट एंटरप्राइजेज के मूल मालिक को एक मांग पत्र दिया गया। इसकी प्रतिलिपि मुख्यमंत्री, निजी बस ऑपरेटिंग कंपनियाँ डागा, हंसा, मातेश्वरी और श्रमायुक्त को दी गयी. आज़ाद मैदान में, भूख हड़ताल को इस आंदोलन द्वारा समर्थन दिया गया।
5 अगस्त 2023 को आजाद मैदान स्थित पत्रकार भवन के परिसर में सीटू कार्यालय के पास एक हॉल में 700 से 800 कार्यकर्ताओं की एक बैठक हुई. इस सभा में बेस्ट श्रमिक संगठन के कॉमरेड उदय भट्ट, संघर्ष यूनियन के रंगनाथ सतवासे, हरीश गायकवाड़, बशीर अहमद, लता परब, जे. एम. कहार एवं मनोज यादव ने मार्गदर्शन किया। सभी वेट-लीज कर्मचारियों ने इस विरोध प्रदर्शन में भाग लिया और 6 अगस्त को बस डिपो का दौरा कर बंद का आह्वान करने का निर्णय लिया। जैसा कि 6 अगस्त को योजना बनाई गई थी, यूनियन ने सभी वेट-लीज डिपो से मुलाकात की और एक नागरिक मंच “आमची मुंबई आमची बेस्ट” के साथ 7वीं बेस्ट वर्षगांठ, पर कोटवाल गार्डन से वडाला डिपो तक मार्च आयोजित करने के महत्व पर जोर दिया। डी। 7 अगस्त को, सरकार ने मोर्चे को अनुमति देने से इंकार कर दिया, पुलिस ने कोतवाल गार्डन को बंद कर दिया, इसलिए मोर्चे को दादर टीटी की ओर ले जाया गया। यहां मोर्चे ने वडाला डिपो जाने का फैसला किया, लेकिन पुलिस ने उसे फिर रोका तो धीरे-धीरे लोग वडाला डिपो के सामने जमा हो गए.
इस कार्यक्रम में ट्रेड यूनियनों, सार्वजनिक संगठनों, बेस्ट के सेवानिवृत्त कर्मचारियों, युवाओं और छात्रों, महिला संगठनों के साथ-साथ सीपीआई (एम), सीपीआई, शेकाप, समाजवादी पार्टी, लाल निशान पार्टी, कांग्रेस पार्टी और वेट-लीज के 800 कर्मचारियों ने भाग लिया। हमारा मुंबई हमारा सर्वोत्तम मंच संयोजक श्री. विद्याधर दाते, श्रीमती संध्या गोखले, श्री. उज्ज्वला म्हात्रे के प्रतिनिधिमंडल ने वेट-लीज कर्मचारियों, पहल के विकास के बारे में चर्चा के बाद सभी कर्मचारियों, यात्रियों और नागरिकों की ओर से एक बयान प्रस्तुत किया। सीटू अध्यक्ष कॉमरेड वर्तक, जनवादी महिला संगठन के कॉमरेड सुगंधी फ्रांसिस, कॉमरेड अंजू दिवेकर, कॉमरेड प्रकाश रेड्डी (सीपीआई), कॉमरेड सदानंद यादव (सेवानिवृत्त बेस्ट वर्कर्स यूनियन), अरविंद कांगिनकर (बीडब्ल्यूयू) श्री नितिन पाटिल (बीईयू), कॉमरेड जगनारायण (संघर्ष) का.के.संघ), विद्याधर दाते, उज्ज्वला म्हात्रे ने श्रोताओं को संबोधित किया।
8 अगस्त को मुख्यमंत्री ने मौखिक रूप से अनशनकारी प्रज्ञा खजूरकर की सामान्य मांगों पर सहमति व्यक्त की और उन्हें आठ दिनों से चली आ रही हड़ताल वापस लेने को कहा। इस बीच, इलेक्ट्रॉनिक और प्रिंट मीडिया ने यह खबर देकर श्रमिकों के बीच भ्रम पैदा कर दिया कि पूरी हड़ताल वापस ले ली गई है। भ्रमित श्रमिक, लगभग 500 आंदोलनकारी श्रमिकों ने संघ से संपर्क किया और सीटू श्रमिक संघ के कार्यालय में एकत्र हुए और सर्वसम्मति से आंदोलन जारी रखने का निर्णय लिया। कर्मचारियों ने तब तक पीछे नहीं हटने का निर्णय लिया जब तक मुख्यमंत्री लिखित रूप से मांगों पर सहमति नहीं जता देते।
मुख्यमंत्री के मौखिक आश्वासन और मीडिया अभियान तथा प्रज्ञा खजूरकर की हड़ताल वापस लेने की अपील के कारण अगले दिन 9 अगस्त को लगभग 85 प्रतिशत बसें सुचारू रूप से चलने लगीं। इस विरोध प्रदर्शन में, निजी कंपनियों द्वारा 126 श्रमिकों को अदालती नोटिस जारी किए गए, बैक बे डिपो के दो श्रमिकों को गिरफ्तार किया गया और विभिन्न डिपो से यूनियन कार्यकर्ताओं को गिरफ्तार किया गया। यूनियन की ओर से अधिवक्ता चंद्रकांत भोजगर, एडवोकेट राजू कोर्डे की मदद से श्रमिकों को तुरंत मदद और सुरक्षा प्रदान की गई। बैकबे डिपो के दो कर्मचारियों को गिरफ्तार करके कोर्ट के सामने लाया गया तब अधिवक्ता किशोर सामंत ने तत्काल नियुक्ति कर तुरंत अदालती प्रक्रिया पूरी कर दोनों कर्मचारियों को मुक्त किया।
यूनियन ने तुरंत कार्यकारिणी की बैठक की और निर्णय लिया कि कर्मचारियों को काम पर आना चाहिए. तीन कंपनियों ने विभिन्न कानूनों के तहत लगभग 56 श्रमिकों के खिलाफ औद्योगिक न्यायालय में शिकायत दर्ज की, जिन कर्मचारियों को नोटिस, अदालती नोटिस भेजे गए, श्रमिकों की ओर से 11 अगस्त 2023 को औद्योगिक न्यायालय में संघर्ष श्रमिक संघ ने खड़े होकर सबूत दिखाए। अदालत ने कहा कि प्रबंधन इन श्रमिकों को काम पर नहीं रख रहा है और अन्य यूनियन से संबन्धित श्रमिकों को काम पर रखने में पक्षपात और भेदभाव कर रहा है। यह मामला प्रबंधन के वकील के संज्ञान में आने के बाद अगले दिन 12 अगस्त को यूनियन के 123 सदस्यों को अंडरटेकिंग देकर शामिल किया गया. संघर्ष कर्मचारी कामगार यूनियन के शशांक राव काम पर बाहर थे और व्यक्तिगत रूप से भाग नहीं ले सके। इस आंदोलन में कामरेड हरीश गायकवाड़, लता परब, बशीर अहमद, रंगनाथ सतवासे और जगनारायण कहार ने महत्वपूर्ण भूमिका निभाई। सार्वजनिक बसें परिवहन सेवाओं के निजीकरण-ठेकेदारी और समान काम के लिए समान वेतन के खिलाफ श्रमिकों का निरंतर संघर्ष जारी है।
– लता परब (9768772660)