जयपुर/सिरोही | लम्पी बिमारी पर बहस के दौरान राजस्थान विधानसभा में विधायक संयम लोढा ने सभी गौ भक्तों का धन्यवाद दिया जिन्होंने इस गम्भीर बिमारी में गौ माता की सेवा की। लम्पी बिमारी को लेकर हुई चर्चा में विधायक संयम लोढा ने कहां कि राजस्थान की अशोक गहलोत सरकार ने गौवंश का अनुदान बढाया। सरकार ने गौवंश का अनुदान 32 से बढाकर 40, 16 से बढाकर 20 रूपये किया। आंकडे सामने है, 5 साल भाजपा की सरकार रही है लेकिन गौवंश का अनुदान नही बढाया गया।भाजपा सरकार बनते ही 2014-15 में 1 हजार 475 हजार मैट्रीक टन गायो के मांस का निर्यात हुआ। 33 में से 32 जिलो में गौ माता कहर है। राजस्थान में कुछ विधायको ने इस बिमारी में अपने मद से रूपया दिया लेकिन राजस्थान की मुख्यमंत्री रही वसुंधरा राजे के नाम के आगे शून्य लगा हुआ है, 10 साल राज्य की मुख्यमंत्री रहने के बाद भी राजे ने विधायक कोष से एक रूपया भी गौ माताओं के ईलाज के लिए नही दिया है। यह बहुत शर्म की बात है।
विधायक लोढा ने कहां कि गायो के प्रति हम सबकी संवेदना कम हो रही है, गायो के प्रति प्रेम से दूर जा रहे है, कत्ल खाने दिन प्रतिदिन बढ रहे है। हजारो की तादाद में गाय लम्बी बिमारी से मर रही है। गुजरात में गायो की लाशों के ढेर लगे हुए है लेकिन देश के प्रधानमंत्री व देश की सरकार ने किसी भी राज्य में लम्पी बिमारी से जुझ रही है गायो के लिए कोई मदद नही की। लोढा ने कहां कि मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने मुख्यमंत्री कोष में लम्पी के लिए अलग खाता खोला और सदस्यों की सूची विधायक मद रियायत दी उसके बाद हमने लम्पी की बिमारी के लिए पैसे दिये। विधायक मद से कुछ विधायकों ने गौ माता के साथ खडे रहे लेकिन सांसद मद में एक भी सांसद ने पैसे नही दिया।
भारत सरकार सांसद स्थानीय विकास योजना में दवाईयां खरीदना अनुमत करे 
विधायक संयम लोढा ने विधानसभा में कहां कि भारत सरकार से विनती करना चाहता हूं कि राजस्थान के मुख्यमंत्री अशोक गहलोत ने विधायक स्थानीय क्षेत्र विकास योजना में लम्पी से पीडित गौ माता की सेवा के लिए दवाईयां इंजेक्शन खरीदना अनुमत किया है उसी तरह भारत सरकार भी सांसद स्थानीय विकास योजना में लम्पी बिमारी से जुझ रही गौवंश के उपचार के लिए दवाईयां इंजेक्शन खरीदना अनुमत करे।
25 सांसद जीते, गौ माता के लिए एक फूटी कोडी नही- विधायक संयम लोढा ने कहां कि अनुमत नही होने के बाद भी जालोर सिरोही सांसद ने 25 लाख, भीलवाडा सांसद ने 10 लाख, अलवर सांसद ने 15 लाख, राजसमंद सांसद ने 16 लाख, अजमेर सांसद ने 14 लाख सहित 80 लाख की अनुशंसा में एक रूपया भी राजस्थान के पशुपालन विभाग को प्राप्त नही हुआ है। लोढा ने कहां कि चार दिन पहले उन्होंने टवीट् भी किया था कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी राजस्थान के गौवंश पर कृपा करो, गौ माता की सेवा के लिए सांसद कोष को अनुमत करे। 25 सांसद जीताने के बाद भी गौ माता के लिए एक फूट कोडी नही देना बहुत शर्म का विषय है।उन्होंने कहां कि यह राजस्थान के लिए कलंकित, कांलिक कभी नही मिटेगी।
चीत्ता देखने गये है…
विधायक संयम लोढा से विधानसभा में एक सदस्य ने पूछा कि प्रतिपक्ष के नेता, उप नेता, पूर्व मुख्यमंत्री वसुंधरा राजे सिंधिया सदन में नही दिख रहे है, कहां चले गये तो लोढा ने जवाब दिया कि चीता देखने गये है, यहां गौ मातायें मर रही है और नेता चीता देखने में लगे हुए है।
लोढा ने कहां कि लम्पी स्कीन डिजीज 3 साल से लगातार है लेकिन पहले मृत्यु दर बहुत कम थी। अगस्त 2022 में राजस्थान 29 जिलो से 125 गांवो से सेम्पल राजस्थान की रेफरल लैब में भेजे गये। लम्पी स्कीन डीएनए वायरस रोग है। सैम्पल के बाद यह पता चला कि लम्पी स्कीन का वैरिंयंट बदल गया है। नये वेरियंट से गौ माता पर कहर टूटा है, हमे हजारो गौ माताओं को खोना पडा। हम सबको अपनी जिम्मेदारी समझनी चाहिए। पीसीआर टेस्ट की व्यवस्था हो, ताकि पूरे राजस्थान, पूरे भारत में इस तरह की परिस्थितियां बनती है तो जांच व टीकाकरण किया जा सके। पीसीआईसीडीए एक्ट में केन्द्र सरकार प्रावधान कर नियंत्रण ऐरिया घोषित करे ताकि उस पर काबू पाया जा सकता है। लोढा ने कहां कि गौ ऋषि दंतशरणानंद जी महाराज ने गौ संरक्षण का काम किया है, सिक्किम, बांगलादेश तक गौवंश जाता है, सीमा पर जाक दत्तशरणानंद जी महाराज ने गौशाला की स्थापना की। रघुनाथ सिंह राजपुरोहित पथमेडा पाली स्टेडियम में गायो की स्थिति पर पाली कलक्टर से बातचीत की तारबंदी कराकर, लाईट लगवायी, अनेक जिलो में रथ भेजे है, गौ संरक्षण का काम कर रहे है।
आइसोलेशन सेंटर में सभी व्यवस्था की जाए
लोढा ने पशुपालन मंत्री से आग्रह किया कि जिन गौशालाओं में आईसोलेशन सेंटर चल रहा है, वहां श्रमिको की मजदूरी, दवाईयां, इंजेक्शन, डॉक्टर, कम्पाउंडर की व्यवस्था करे और जहां आईसोलेशन नही चल रहा है वहां पंचायत के माध्यम से आईसोलेशन सेंटर खोले। पंचायत एसएफसी में खर्चा कर सकती है। चिकित्सालय मोबाईल यूनिट प्रत्येक तहसील स्तर पर चालू करे ताकि गौ माताओं का ईलाज कर सके। कमजोर गौ माताओं के लिए पशु आहार की व्यवस्था गौ शालाओं में की जाएगा। सरकार से आग्रह किया मृतक का गौवंश का सर्वे करावाया जाए, गायो की मौत जहां हुई है उन पशुपालकों को मुआवजा दिलावे।
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