जेनेरिक दवाइयों के लॉन्च के अवसर पर खली और गुलशन ग्रोवर की भी उपस्थिति रही
ठाणे। भारत में हेल्थकेयर को और भी अधिक किफ़ायती बनाने के लक्ष्य के एक कदम और नज़दीक पहुँचते हुए जेनेरिक आधार के संस्थापक व सीईओ अर्जुन देशपांडे ने भारत में उपभोक्ताओं के लिए 51 नई दवाएँ शुरू करने की घोषणा की। यह दवाएँ अब लोगों को 80% कम कीमत पर उपलब्ध होंगी। इन उत्पादों के लॉन्च की घोषणा के अवसर पर महाराष्ट्र के मुख्यमंत्री एकनाथ शिंदे, डब्ल्यूडब्ल्यूई रेसलर द ग्रेट खली और अभिनेता गुलशन ग्रोवर उपस्थित रहे।
भारत के अग्रणी फार्मा स्टार्टअप, जेनेरिक आधार ने पुराने फ़ार्मा जगत के समकक्ष एक नया इकोसिस्टम खड़ा कर दिया है। 16 वर्ष की अल्पायु में अर्जुन द्वारा स्थापित यह कंपनी अपने फ्रैंचाईज़ी स्टोर्स के माध्यम से लोगों को किफ़ायती दामों पर उच्च-गुणवत्ता वाली दवाएँ उपलब्ध कराने के लिए सीधे विनिर्माताओं के साथ काम करते हुए फ़ार्मा सेक्टर में नई क्रान्ति लेकर आई है।
जेनेरिक आधार एक ऐसे समय पर सीधे एंड-यूज़र्स तक उच्च गुणवत्ता वाली दवाएँ पहुंचाने के काम कर रही है जब लोग कोविड महामारी और बढ़ती महंगाई की दोहरी मार झेल रहे हैं। ऐसे में जेनेरिक आधार ने अपने ब्रांडेड प्रतिपक्षियों की तुलना में दवाओं की कीमत को 80% तक कम रखा है। उदाहरण के तौर पर आमतौर पर ₹13 रुपए में मिलने वाली दवा फ्लुकोनाज़ोल 150 mg का दाम जेनेरिक आधार द्वारा मात्र ₹4.53 ही रखा गया है। ₹195 में मिलनेवाली नॉर्ट्रिपटाइलीन 10mg + मिथाइलकोबालामीन 1500mcg + प्रीगाबालीन 75mg की कीमत जेनेरिक आधार द्वारा ₹38.85 के लगभग (80% कम कीमत पर) ही रखी गई है।
इनका फार्मेसी-ऐग्रिगेटर फ़्रैंचाईज़ी मॉडल उपभोक्ताओं को जेनेरिक आधार ऐप के माध्यम से दवाएँ ऑर्डर करने में समर्थ बनाता है जो उन तक दो घंटों में ही डिलीवर कर दी जाती हैं। इसके अलावा भौतिक रूप से स्टोर्स पर भी वॉक-इन ग्राहकों का स्वागत किया जाता है। फरवरी 2019 में लॉन्च होने के बाद से ही जेनेरिक आधार देश के 150 से भी अधिक शहरों में अपनी 1500 फार्मेसी खोल चुका है।
जेनेरिक आधार के संस्थापक व सीईओ अर्जुन देशपांडे कहते हैं कि छोटे शहरों पर विशेष रूप से फ़ोकस करते हुए जेनेरिक आधार निम्नतम संभव लागत में लोगों के लिए दवाएँ उपलब्ध कराने के लिए प्रतिबद्ध हैं। अपने इसी उद्देश्य को ध्यान में रखते हुए हमने जेनेरिक आधार के सभी प्लैटफ़ार्म पर 51 नई दवाएँ लॉन्च की हैं। यह कुछ आम समस्याओं की दवाएँ हैं जैसे कि पथरी, न्यूरोपैथिक दर्द, सामान्य सर्दी, खांसी, एलर्जी व फंगल इन्फेक्शन। हम देश के 130 करोड़ लोगों के लिए उच्च गुणवत्ता वाली दवाएँ तैयार कर रहे हैं। उद्यमिता की बढ़ती मांग के साथ ही हमें भविष्य में सफलता की कई कहानियों में अपना योगदान देने पर गर्व महसूस हो रहा है।
वर्तमान में जेनेरिक दवाओं के मामले में भारत दुनिया के सबसे बड़े आपूर्तिकर्ताओं में से एक है जिसकी वैश्विक फार्मास्युटिकल बाज़ार में 20% की हिस्सेदारी है। अपने फ़्रैंचाईज़ी मॉडल के माध्यम से जेनेरिक आधार न केवल रोज़गार पैदा कर रहा है बल्कि ढेरों सूक्ष्म-उद्यमियों के विकास को भी बढ़ावा दे रहा है। इस क्रम में अब तक 1500 से भी अधिक सूक्ष्म-उद्यमियों व रोज़गार के 8000 से अधिक प्रत्यक्ष/अप्रत्यक्ष अवसरों का सृजन हो चुका है।